दिल्ली में स्वास्थ्य सेवाओं पर कैग रिपोर्ट: वित्तीय अनियमितताओं का खुलासा
“दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने शुक्रवार को विधानसभा में स्वास्थ्य सेवाओं से संबंधित नियंत्रक एवं महालेखा परीक्षक (कैग) की दूसरी रिपोर्ट पेश की। उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली की सार्वजनिक स्वास्थ्य अवसंरचना और स्वास्थ्य सेवाओं के प्रबंधन पर यह रिपोर्ट कैग प्रतिवेदन वर्ष-2024 संख्या 3 के रूप में पेश की गई है।”
पहली बार विधानसभा में पेश हुई कैग रिपोर्ट
मुख्यमंत्री द्वारा कैग की दूसरी रिपोर्ट पेश किए जाने के बाद, विधानसभा अध्यक्ष विजेंद्र गुप्ता ने इसकी प्रतियां सभी सदस्यों को वितरित करने का निर्देश दिया। इस दौरान भाजपा नेता हरीश खुराना ने रिपोर्ट पर प्रतिक्रिया देते हुए पूर्व मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि पूर्व की सरकार ने कभी भी विधानसभा में कैग रिपोर्ट प्रस्तुत नहीं की, जबकि मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने इसे सदन में रखकर संवैधानिक दायित्वों को पूरा किया।
स्वास्थ्य के साथ कोई समझौता नहीं
हरीश खुराना ने कहा कि स्वास्थ्य हमारी सरकार की प्राथमिकता है और इसके साथ किसी भी प्रकार का समझौता स्वीकार नहीं किया जाएगा। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भारत के विभिन्न राज्यों में एम्स जैसे अस्पतालों के निर्माण की सराहना की, जिससे सभी नागरिकों को बेहतरीन स्वास्थ्य सेवाएं मिल सकें।
कैग रिपोर्ट ने खोली पूर्व सरकार की पोल
हरीश खुराना ने कहा कि पूर्व की सरकार ने स्वास्थ्य क्षेत्र में कई बड़े दावे किए थे, लेकिन वे धरातल पर नजर नहीं आते। कैग रिपोर्ट में साफ तौर पर बताया गया है कि 11 साल के शासन में केवल तीन अस्पताल ही बनाए गए। रिपोर्ट में वित्तीय अनियमितताओं की ओर भी इशारा किया गया है।
जानबूझकर परियोजनाओं में की गई देरी
रिपोर्ट में यह भी खुलासा हुआ कि इंदिरा गांधी अस्पताल के निर्माण कार्य में पांच साल की देरी हुई, जिससे परियोजना की लागत 314 करोड़ रुपये बढ़ गई।
कैग रिपोर्ट ने दिल्ली की पूर्व सरकार की स्वास्थ्य क्षेत्र में अनियमितताओं को उजागर किया है। यह रिपोर्ट दर्शाती है कि कैसे वित्तीय अनियमितताओं और लापरवाही के कारण दिल्ली की स्वास्थ्य सेवाओं को नुकसान पहुंचा।