अयोध्या में योगी आदित्यनाथ के विकास कार्यों की जीत, मिल्कीपुर में भाजपा का परचम लहराया
“प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने रामनगरी अयोध्या को न केवल त्रेतायुगीन वैभव दिलाने की दिशा में कार्य किया, बल्कि संपूर्ण प्रदेश को विकास के नए पथ पर अग्रसर किया। इसी का परिणाम है कि अयोध्या के मिल्कीपुर उपचुनाव में भाजपा ने प्रचंड जीत दर्ज की।“
भाजपा प्रत्याशी चंद्रभानु पासवान ने 61,710 वोटों से शानदार जीत दर्ज की। दूसरी ओर, समाजवादी पार्टी (सपा) के उम्मीदवार, जो सांसद अवधेश प्रसाद के बेटे थे, केवल 34.81% वोट ही हासिल कर सके।
‘जय श्री राम’ के उद्घोष के बीच भाजपा की प्रचंड जीत
योगी आदित्यनाथ की दो महत्वपूर्ण चुनावी रैलियों ने मिल्कीपुर में ‘जय श्री राम’ के नारों की गूंज को तेज कर दिया। भाजपा की जीत के पीछे राष्ट्रवाद, सुशासन, भ्रष्टाचार पर प्रहार और स्थानीय विकास के मुद्दे अहम रहे।
- भाजपा को मिले कुल वोट: 1,46,397 (60.17%)
- ईवीएम से प्राप्त वोट: 1,46,291
- पोस्टल बैलेट से वोट: 106
- सपा प्रत्याशी के कुल वोट: 84,655
- पोस्टल बैलेट में केवल 32 वोट
“योगी आदित्यनाथ के विकास मॉडल और भ्रष्टाचार विरोधी छवि को जनता ने स्वीकारा।”
अखिलेश यादव और सपा का ‘परिवारवाद’ मॉडल विफल
योगी आदित्यनाथ ने अपनी चुनावी रैलियों में राष्ट्रवाद बनाम परिवारवाद का मुद्दा उठाया। उन्होंने कहा कि परिवारवाद को खत्म करने और विकास को बढ़ावा देने के लिए भाजपा को जिताना आवश्यक है।
सपा उम्मीदवार अवधेश प्रसाद के बेटे को जनता ने पूरी तरह नकार दिया। अखिलेश यादव अयोध्या आए, लेकिन उन्होंने रामलला के दर्शन तक नहीं किए, जिससे जनता में उनकी छवि कमजोर हुई।
योगी आदित्यनाथ की मजबूत रणनीति और जमीनी पकड़
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मिल्कीपुर के उपचुनाव में 24 जनवरी और 2 फरवरी को दो रैलियां कीं। 24 जनवरी को उत्तर प्रदेश दिवस के आयोजन की व्यस्तता के बावजूद वे जनता से संवाद करने पहुंचे।
2 फरवरी को उनकी दूसरी रैली हुई, जहां उन्होंने महाकुंभ और बसंत पंचमी के अवसर पर विकास की बात रखी। उनकी भ्रष्टाचार विरोधी छवि और अयोध्या में राम मंदिर निर्माण के लिए किए गए कार्यों को जनता ने सराहा।
“योगी आदित्यनाथ ने विकास को प्राथमिकता दी और भ्रष्टाचार पर कड़ा प्रहार किया, जिससे जनता का विश्वास मजबूत हुआ।”
मिल्कीपुर में जीत के मुख्य कारण
✔️ योगी आदित्यनाथ का विकास मॉडल: अयोध्या को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिलाने और बुनियादी सुविधाओं को बेहतर बनाने का कार्य।
✔️ राष्ट्रवाद की भावना: राम मंदिर निर्माण और धार्मिक पर्यटन को बढ़ावा देने का असर।
✔️ भ्रष्टाचार के खिलाफ सख्त कार्रवाई: अपराधियों और माफियाओं पर कड़ी कार्रवाई से जनता का विश्वास बढ़ा।
✔️ परिवारवाद के खिलाफ जागरूकता: योगी आदित्यनाथ ने जनता को बताया कि सपा सिर्फ परिवारवाद की राजनीति करती है।
✔️ जनसंवाद और रैलियां: मुख्यमंत्री की चुनावी रैलियों से जनता के बीच भाजपा का प्रभाव बढ़ा।
मिल्कीपुर उपचुनाव में भाजपा की जीत योगी आदित्यनाथ के विकास कार्यों और उनकी सुशासन नीति की जीत है। राम मंदिर निर्माण, भ्रष्टाचार पर प्रहार और राष्ट्रवादी सोच ने मतदाताओं को भाजपा के पक्ष में खड़ा किया।