दिल्ली सरकार का 10-सूत्रीय एजेंडा: स्वच्छता, विकास और कल्याण पर जोर
“दिल्ली में नवनिर्वाचित सरकार ने अपने 10-सूत्रीय एजेंडे को सार्वजनिक किया, जिसमें गरीबों के कल्याण, स्वच्छ पेयजल, रोजगार और बुनियादी सुविधाओं के सुधार पर जोर दिया गया है। उपराज्यपाल वी. के. सक्सेना ने विधानसभा सत्र के दौरान सरकार की प्राथमिकताओं को रेखांकित किया और कहा कि “दिल्ली को देश का सबसे स्वच्छ महानगर बनाने के लिए व्यापक योजनाएं तैयार की गई हैं।”“
दिल्ली सरकार का 10-सूत्रीय फोकस
गरीबों का कल्याण – झुग्गीवासियों को घर और अन्य सरकारी योजनाओं का लाभ।
स्वास्थ्य सेवाओं का विस्तार – आयुष्मान भारत योजना और मुफ्त ओपीडी, डायग्नोस्टिक सेवाएं।
महिलाओं के लिए वित्तीय सहायता – हर महीने ₹2,500 की योजना।
स्वच्छ पानी की आपूर्ति – यमुना सफाई और आधुनिक जल प्रणाली।
बुजुर्गों और विधवाओं के लिए पेंशन में वृद्धि।
सड़कों, सीवर और जल निकासी व्यवस्था में सुधार।
रोजगार सृजन और आर्थिक गतिविधियों को बढ़ावा।
लैंडफिल पर कचरे के पहाड़ों को खत्म करना और हरित क्षेत्रों में पुनर्वास।
शिक्षा व्यवस्था को विश्व स्तरीय बनाना।
भ्रष्टाचार मुक्त प्रशासन और पारदर्शिता सुनिश्चित करना।
CAG रिपोर्ट और दिल्ली विधानसभा में उठे मुद्दे
उपराज्यपाल ने सरकार की कार्यकुशलता बढ़ाने के लिए 100-दिवसीय कार्ययोजना की घोषणा की और कहा कि पिछले प्रशासन की “विफलताओं और लापरवाहियों” की समीक्षा के लिए CAG रिपोर्ट पेश की जाएगी।
उन्होंने कहा कि “सरकार का ध्यान केवल वादों और विज्ञापनों पर नहीं, बल्कि ठोस नीतियों के क्रियान्वयन पर होगा।”
विपक्षी विधायकों का निलंबन और सदन की कार्यवाही
सत्र के दौरान विपक्षी पार्टी आम आदमी पार्टी (AAP) के 12 विधायकों, जिनमें नेता प्रतिपक्ष आतिशी भी शामिल थीं, को असभ्य व्यवहार के कारण निलंबित कर दिया गया।
मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने CAG रिपोर्ट पेश की और विधायकों ने उपराज्यपाल के संबोधन पर ‘धन्यवाद प्रस्ताव’ में भाग लिया।
दिल्ली सरकार का 10-सूत्रीय एजेंडा स्वच्छता, बुनियादी ढांचे और सामाजिक कल्याण पर केंद्रित है। सरकार जनहित में पारदर्शी और प्रभावी प्रशासन देने के वादे के साथ आगे बढ़ रही है। अब देखने वाली बात यह होगी कि इन नीतियों को कितनी जल्दी और प्रभावी ढंग से लागू किया जाता है।