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डिजिटल ट्रांसफॉर्मेशन अवार्ड 2025: आरबीआई की ‘प्रवाह’ और ‘सारथी’ पहल को मिली वैश्विक मान्यता

भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) को सेंट्रल बैंकिंग लंदन द्वारा डिजिटल ट्रांसफॉर्मेशन अवार्ड 2025 से सम्मानित किया गया है। यह पुरस्कार आरबीआई की दो प्रमुख डिजिटल पहलों ‘प्रवाह’ और ‘सारथी’ के लिए प्रदान किया गया, जिनके माध्यम से केंद्रीय बैंक की कार्यप्रणाली में डिजिटल सुधार लाए गए हैं और पेपरलेस सिस्टम को बढ़ावा दिया गया है।

आरबीआई ने की आधिकारिक घोषणा

आरबीआई ने अपने आधिकारिक एक्स (Twitter) हैंडल पर यह खबर साझा करते हुए कहा,

“आरबीआई को इन-हाउस डेवलपर टीम द्वारा विकसित ‘प्रवाह’ और ‘सारथी’ जैसी डिजिटल पहलों के लिए डिजिटल ट्रांसफॉर्मेशन अवार्ड 2025 से सम्मानित किया गया है। इन पहलों ने बैंकिंग प्रक्रियाओं में पेपर-बेस्ड सबमिशन को कम किया है और डिजिटल प्रणाली को मजबूत किया है।”

‘सारथी’ और ‘प्रवाह’ पहल के क्या हैं फायदे?

आरबीआई द्वारा शुरू की गई ‘सारथी’ और ‘प्रवाह’ पहलें बैंकिंग प्रणाली में डिजिटल सुधार लाने के लिए विकसित की गई हैं। इनकी मदद से आरबीआई की आंतरिक और बाहरी प्रक्रियाओं को पूरी तरह डिजिटल किया गया है

1. सारथी: इंटरनल वर्कफ्लो को डिजिटल बनाने की पहल

  • जनवरी 2023 में लागू की गई ‘सारथी’ पहल का उद्देश्य आरबीआई के सभी आंतरिक कार्यों को डिजिटल बनाना था।
  • इस पहल के जरिए कर्मचारियों को महत्वपूर्ण दस्तावेजों को सुरक्षित रूप से स्टोर और शेयर करने की सुविधा मिली।
  • रिकॉर्ड मैनेजमेंट सिस्टम में सुधार हुआ, जिससे प्रशासनिक प्रक्रियाएं अधिक सुगम हो गईं।

2. प्रवाह: एक्सटर्नल यूजर्स के लिए डिजिटल समाधान

  • मई 2024 में ‘प्रवाह’ पहल को लॉन्च किया गया, जिसका उद्देश्य बाहरी उपयोगकर्ताओं (External Users) के लिए डिजिटल आवेदन प्रणाली विकसित करना था।
  • यह पोर्टल विनियामक अनुप्रयोगों को डिजिटल रूप में प्रस्तुत करने और उनकी प्रक्रिया को ट्रैक करने की सुविधा प्रदान करता है।
  • ‘प्रवाह’ के जरिए सबमिट किए गए सभी दस्तावेज सीधे ‘सारथी’ डेटाबेस से जुड़े होते हैं, जिससे केंद्रीय बैंक के कार्यालयों में उनका डिजिटल रूप में सुरक्षित प्रबंधन किया जाता है।

आरबीआई की डिजिटल सुरक्षा और साइबर संरचना

  • सारथी और प्रवाह प्रणाली को सेंट्रलाइज्ड साइबर सिक्योरिटी सिस्टम से जोड़ा गया है, जिससे सभी डेटा को सुरक्षित रखा जाता है।
  • डिजिटल ट्रैकिंग के जरिए दस्तावेजों की निगरानी आसान हुई है, जिससे बैंकिंग पारदर्शिता बढ़ी है।

टीम के योगदान से मिली सफलता

आरबीआई के आईटी विभाग ने इन डिजिटल सिस्टम को बनाने से पहले कर्मचारियों की जरूरतों को समझने के लिए गहन शोध किया। इसके बाद, सभी विभागों में एक वरिष्ठ ‘नोडल अधिकारी’ नियुक्त किया गया, जिससे नई तकनीकों को आसानी से अपनाया जा सके।

सेंट्रल बैंकिंग लंदन का बयान

सेंट्रल बैंकिंग लंदन ने एक आधिकारिक बयान में कहा कि,

“आरबीआई की ‘प्रवाह’ और ‘सारथी’ पहलें बैंकिंग प्रक्रिया को डिजिटल बनाने और पारदर्शिता लाने के लिए सराहनीय प्रयास हैं। इससे बैंकिंग कार्यों की दक्षता में सुधार हुआ है और आधुनिक टेक्नोलॉजी का प्रभावी उपयोग किया गया है।”

भारतीय रिजर्व बैंक को डिजिटल ट्रांसफॉर्मेशन अवार्ड 2025 मिलना भारत के बैंकिंग क्षेत्र में तकनीकी प्रगति का संकेत है। ‘प्रवाह’ और ‘सारथी’ जैसी पहलों ने आरबीआई की कार्यप्रणाली को डिजिटल बनाकर पारदर्शिता और कार्यकुशलता में वृद्धि की है। यह सम्मान भारत को फिनटेक और डिजिटल बैंकिंग में वैश्विक स्तर पर अग्रणी बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण उपलब्धि है।

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