जीवन की हर खुशी पाने के लिए दीपावली पर इन 6 वास्तु नियमों का रखें ध्यान, ताकि बेरोक-टोक आ सकें आपके घर महालक्ष्मी
दीपावली का त्यौहार खुशियों और समृद्धि का प्रतीक है। इस अवसर पर यदि आप कुछ खास वास्तु नियमों का पालन करते हैं, तो यह आपके जीवन में सकारात्मक ऊर्जा और सुख-समृद्धि को आकर्षित कर सकता है। यहाँ 6 महत्वपूर्ण वास्तु नियम दिए गए हैं, जिनका ध्यान रखकर आप दीपावली पर अपने घर में महालक्ष्मी का स्वागत कर सकते हैं:
1. मुख्य द्वार की सफाई
- दीपावली पर अपने घर के मुख्य द्वार को अच्छी तरह से साफ करें और सजाएं। यह माना जाता है कि मुख्य द्वार पर सकारात्मक ऊर्जा का प्रवाह होता है। द्वार पर रंगोली बनाना और दीपक जलाना शुभ रहेगा।
2. उत्तरी दिशा की सजावट
- वास्तु के अनुसार, उत्तरी दिशा धन और समृद्धि का प्रतीक है। इस दिशा में दीप जलाना और पौधों की सजावट करना आपकी आर्थिक स्थिति को मजबूत कर सकता है।
3. दीपों की संख्या
- दीपावली पर 13 या 26 दीप जलाना शुभ माना जाता है। यह ऊर्जा और सकारात्मकता को बढ़ाने में मदद करता है। दीपों को सही दिशा में रखने से घर में सुख-समृद्धि का संचार होता है।
4. शुद्धता का ध्यान रखें
- घर के सभी स्थानों को साफ और शुद्ध रखें। गंदगी और अव्यवस्था को दूर करें। साफ-सुथरा घर सकारात्मक ऊर्जा को आकर्षित करता है और महालक्ष्मी का स्वागत करता है।
5. पौधों का महत्व
- घर में तुलसी, पीपल या बांस के पौधे लगाना बहुत शुभ होता है। ये पौधे न केवल घर की सजावट करते हैं, बल्कि सकारात्मक ऊर्जा का प्रवाह भी बढ़ाते हैं।
6. आभूषण और धन की रखरखाव
- घर में धन और आभूषण को सही जगह पर रखें। दक्षिण दिशा में किसी भी प्रकार का धन या आभूषण नहीं रखना चाहिए। इसे पश्चिम या उत्तर दिशा में सुरक्षित रखना शुभ है।