अप्रैल-सितंबर 2024: कोयला आयात में आई गिरावट
“देश में अप्रैल से सितंबर 2024 के दौरान घरेलू कोयला आधारित ताप विद्युत संयंत्रों और गैर-विनियमित क्षेत्रों में कोयला आयात में कमी दर्ज की गई है। यह गिरावट सरकार द्वारा कोयला उत्पादन बढ़ाने और आत्मनिर्भरता को प्रोत्साहित करने की दिशा में किए गए प्रयासों का परिणाम है।”
घरेलू कोयला आधारित ताप विद्युत संयंत्रों के कोयला आयात में 8.59 प्रतिशत की गिरावट दर्ज की गई है। इसका मुख्य कारण घरेलू स्तर पर कोयले की उपलब्धता में सुधार और आयात पर निर्भरता को कम करने के लिए उठाए गए कदम हैं।
गैर-विनियमित क्षेत्रों, जैसे सीमेंट, स्टील, और अन्य औद्योगिक क्षेत्रों में भी कोयला आयात में 9.83 प्रतिशत की कमी आई है। इन क्षेत्रों में स्थानीय कोयले के उपयोग को बढ़ावा देने और लागत में कटौती करने के उद्देश्य से नई नीतियों को लागू किया गया है।
विशेषज्ञों का मानना है कि यह गिरावट भारत की ऊर्जा क्षेत्र में आत्मनिर्भरता की दिशा में एक सकारात्मक संकेत है। सरकार ने कोयला खनन में निवेश बढ़ाने, उत्पादन क्षमता में सुधार करने, और परिवहन की बेहतर व्यवस्था के लिए कई योजनाएं शुरू की हैं।
यह कमी न केवल विदेशी मुद्रा की बचत में मददगार है, बल्कि पर्यावरणीय संतुलन को बनाए रखने में भी योगदान देगी। आने वाले समय में यह प्रवृत्ति भारत को ऊर्जा क्षेत्र में अधिक आत्मनिर्भर और टिकाऊ बनाने में सहायक होगी।